पौराणिक मान्यताओं के मुताबिक होली के दौरान कुछ मंत्रों का जप करने से आप महालक्ष्मी की कृपा प्राप्त कर सकते हैं। होली की रात देवी महालक्ष्मी सहित इष्ट देवी-देवताओं की विधिवत पूजा करनी चाहिए। मंत्र जप 108 बार या 1008 बार किया जा सकता है। मंत्र जप के लिए कमल के गट्टे की माला का उपयोग करना चाहिए। इस मंत्र का जप करें - ऊँ श्रीं महालक्ष्म्यै नम:। महालक्ष्मी मंत्र के जप एवं पूजन विधान से पहले आपको कुछ बातों का ध्यान रखना होगा। यह बातें यदि निर्देशानुसार मानी जाएं, तो आपकी ये पूजा असफल नहीं होगी।
महालक्ष्मी के इन उपायों के अलावा होली की रात एक आसान पूजा से विवाह में आ रही बाधा को दूर किया जा सकता है। कुंडली के दोषों के कारण कई प्रयासों के बाद भी विवाह नहीं हो पा रहा है तो होली की रात एक आसान पूजा से विवाह में आ रही बाधा को दूर किया जा सकता है।होली पर पान का 1 साबूत पत्ता, 1 साबूत सुपारी एवं हल्दी की गांठ लेकर शिव मंदिर जाएं। पान के पत्ते पर सुपारी और हल्दी की गांठ रखकर शिवलिंग पर अर्पित करें। इसके बाद अपने घर लौट आएं। घर लौटते समय पीछे पलटकर न देखें। यही प्रयोग अगले दिन फिर करें।
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